Question :

“घर पर सब कुशल पूर्वक है।” वाक्य में किस प्रकार की अशुद्धि है?


A) लिंग
B) कारक
C) सर्वनाम
D) संज्ञा

Answer : B

Description :


“घर पर सब कुशल पूर्वक है।” इस वाक्य में कारक सम्बंधी अशुद्धि है, क्योंकि ‘पर’ के स्थान पर में का प्रयोग उचित होगा। इस प्रकार शुद्ध वाक्य – घर में सब कुशल पूर्वक हैं।


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निम्नलिखित में से कौन-सा वाक्य शुद्ध हैं।


A) मैंने पार्टी में आठ-दस रसगुल्ला खाया।
B) प्रेम का मूल्य आँका नहीं जा सकता।
C) इतने में हल्की-सी हवा का एक झोंका आया।
D) प्रत्येक श्रमिकों को दो-दो रुपये मिले।

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निर्देश (प्रश्न सं. 150 से 152 तक) : दिये गये वाक्यों में से कुछ में त्रुटियाँ है और कुछ ठीक हैं। वाक्य के जिस भाग में त्रुटियाँ हों, उसके अनुरुप अक्षर (A), (B), (C) वाले अण्डाकार खाने को काला करें। यदि वाक्य में कोई त्रुटि न हों, तो (D) वाले अंण्डाकार खाने को पूरी तरह काला करें।


A) शिक्षा के क्षेत्र में
B) अनुशासन का विशेष महत्व है
C) अनुशासित छात्र, आदर्श विद्यार्थी की श्रेणी में आती है
D) कोई त्रुटि नहीं।

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निम्नलिखित में से अशुद्ध वाक्य है।


A) कोयल आम की डाल पर कूक रही है।
B) इस कमरे की छत बहुत ऊंची है।
C) मानव विधाता की श्रेष्ठतम रचना है।
D) व्यायाम स्वास्थ्य के लिए उपयोगी है।

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निम्न वाक्यों में एक वाक्य व्याकरण की दृष्टि से अशुद्ध है, पहचानिए।


A) शुष्क इलाकों में पानी की आपूर्ति के लिये बारिश या बर्फबारी बढ़ाई जा सकती है।
B) युद्ध के समय गीता को लिखना कृष्ण के ही बस की बात थी।
C) स्वयं वे भी अपनी बीमारी को लेकर दुखी थे।
D) हम जानते हैं कि सूर्य ऊर्जा का एक अथाह भण्डार है।

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दिए गए वाक्यों में से सही वाक्य बताइए।


A) हरीश सज्जन पुरुष हैं।
B) हरिष सज्जन आदमि हैं।
C) हरीस सज्जन हैं।
D) हरीश सज्जन व्यक्ति है।

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