Question :

पृथ्वी की औसत त्रिज्या (R) व औसत घनत्व (d), गुरुत्व के कारण त्वतण का औसत मान (g) तथा सार्वत्रिक गुरुत्वाकर्षण स्थिरांक (G) के आंकड़ो के अनुसार, पृथ्वी के द्रव्यमान की गणना -


A) केवल R व d को प्रयुक्त कर के हो सकती है
B) केवल G व g को प्रयुक्त कर के हो सकती है
C) g, G व g. को प्रयुक्त कर के हो सकती है
D) केवल R व G को प्रयुक्त कर के हो सकती है

Answer : A

Description :



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एक भारी नाभिक (न्यूक्लियम) के तात्क्षणिक विघटन की परिघटना -


A) विघटनाभिका (radioactivity) कहलाती है
B) नाभिक विखंडन कहलाती है
C) नाभिक संलयन कहलाती है
D) अंतः स्कोट (implosion) कहलाती है

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डॉक्टरों द्वारा रोगी व्यक्ति के पेट की आन्तरिक परीक्षा हेतु प्रयुक्त अंतर्दर्शी प्रकाश के -


A) परावर्तन पर निर्भर है
B) प्रकीर्णन पर निर्भर है
C) अपर्वतन पर निर्भर है
D) पूर्ण आन्तरिक परावर्तन पर निर्भर है

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कांच के फ्लास्क में भरे द्रव के द्रव्यमान को गर्म करने पर -


A) द्रव का घनत्व अपरिवर्तनीय रहेगा
B) द्रव का घनत्व बढ़ जाएगा
C) फ्लास्क में द्रव का तल तुरन्त ही बढ़ना शुरु कर देगा
D) फ्लास्क में द्रव का तल पहले कुछ गिरेगा तत्पश्चात् बढ़ना प्रारम्भ करेगा।

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किसी द्रव की वाष्पन दर -


A) द्रव के तापमान पर निर्भर करती है
B) चारों ओर के वायु के ताप पर निर्भर करती है
C) द्रव की सतह के क्षेत्रफल पर निर्भर करती है
D) उपरोक्त सभी पर निर्भर करती है

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कांच प्रिज्म में होकर श्वेत प्रकाश के गुजरने पर वह वर्णा में बिखर जाता है क्योंकि -


A) प्रिज्म का कांच प्रकाश को रंगीन बना देता है
B) भिन्न वर्ण का प्रकाश कांच में भिन्न वेग से गमन करता है
C) प्रकाश के व्यतिकरण के कारण ऐसा होता है
D) प्रकाश के विवर्तन (diffraction) के कारण ऐसा होता है

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