Question :

ध्रुवपद-धमार गायन शैली का प्रवर्तक किसे माना जाता है?


A) तानसेन
B) अमीर खुसरो
C) स्वामी हरिदास
D) बैजू वावरा

Answer : C

Description :


स्वामी हरिदास जी को ध्रुपद-धमार का प्रवर्तक और साथ ही मंदिरों में ध्रुपद गायन द्वारा अर्चना-पद्धति का भी प्रवर्तक माना जाता है। कुछ विद्वान ध्रुपद की डागुर बानी का भी प्रवर्तक स्वामी हरिदास को मानते हुए ध्रुपद संगीतज्ञों के प्रसिद्ध डागर परिवार को उन्हीं से जोड़ते हैं।


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सूची-। एवं सूची-।। को सुमेलित कीजिए तथा नीचे दिए गए कूट से सही उत्तर चुनिए-

 

सूची-। सूची-।।
 (A) टेराकोटा  I. चिनहट
 (B) लकड़ी के खिलौने  II. गोरखपुर
 (C) चीनी मिट्टी के बर्तन  III. फिरोजाबाद
 (D) काँच का समान  IV. वाराणसी

 

कूट: A B C D


A) II, IV, I, III
B) I, II, III, IV
C) IV, III, II, I
D) III, I, IV, II

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निम्नलिखित में से कौन सा युग्म सुमेलित नहीं है?


A) वृंदावन मंदिर - मथुरा
B) जे.के. मंदिर - लखनऊ
C) विश्वनाथ मंदिर - वाराणसी
D) देवी पाटन मंदिर - तुलसीपुर

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उत्तर प्रदेश के निम्नलिखित नगरों में से किस एक में नगर निगम नहीं है?


A) अलीगढ़
B) फैजाबाद
C) मुरादाबाद
D) सहारनपुर

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उत्तर प्रदेश में चकबंदी कार्यक्रम कब प्रारंभ की गई?


A) 1950
B) 1954
C) 1955
D) 1956

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अघोर संत बाबा कीनाराम का जन्म किस जनपद में हुआ था?


A) गाजीपुर
B) वाराणसी
C) चंदौली
D) गोरखपुर

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